इंदौर के पश्चिम क्षेत्र स्थित प्राचीन रणजीत हनुमान मंदिर में रणजीत लोक परियोजना की शुरुआत हो चुकी है। लगभग 7 करोड़ रुपये की लागत से होने वाले इस पुनर्विकास कार्य का बुधवार को नगर निगम, स्मार्ट सिटी टीम और मंदिर प्रबंधन ने निरीक्षण किया। टीम ने मंदिर परिसर में मार्किंग कर काम के नक्शे और चरणबद्ध योजना की समीक्षा की।
रणजीत लोक का निर्माण अलग-अलग चरणों में किया जाएगा ताकि श्रद्धालुओं को असुविधा न हो। सबसे पहले मंदिर की छोटी पार्किंग में काम शुरू होगा, जिसकी शुरुआत नवरात्रि से होगी। यहां जिक-जैक रास्ता और शेड बनाए जाएंगे ताकि भक्तों को धूप और बारिश से बचाव मिल सके। इसके साथ ही 25 फीट चौड़ा पाथवे तैयार होगा, जिसकी दीवारों पर भगवान हनुमान से जुड़े दृश्य पत्थरों में उकेरे जाएंगे और रामायण व सुंदरकांड को चित्रों में दर्शाया जाएगा।
कुछ दिनों पहले मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने इस परियोजना का वर्चुअल भूमि पूजन किया था। परियोजना का उद्देश्य मंदिर क्षेत्र का सौंदर्यीकरण और श्रद्धालुओं की सुविधाओं का विस्तार है। मंदिर प्रबंधन और स्मार्ट सिटी टीम सांवरिया सेठ मंदिर की योजना भी देखने जाएगी ताकि रणजीत लोक के विकास कार्य को उसी तर्ज पर आगे बढ़ाया जा सके।
मंदिर के वर्तमान पुजारी पं. दीपेश व्यास ने बताया कि उनके परदादा स्व. पं. भोलाराम व्यास मंदिर के संस्थापक पुजारी थे और वर्तमान में उनकी पांचवीं पीढ़ी पूजा-अर्चना कर रही है। उन्होंने बताया कि शुरुआत में बाबा रणजीत टीन शेड में विराजमान थे, 1960 में पक्का निर्माण और 1992 में आरसीसी छत का काम हुआ था। रणजीत लोक परियोजना पूरी होने के बाद श्रद्धालुओं को और बेहतर सुविधाएं मिलेंगी।
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